पीजीजीसी-11 की छात्राओं ने ब्यास नदी तट के कटाव से प्रेरित मानव विस्थापन और प्राकृतिक आपदा के प्रति संवेदनशीलता को लेकर सर्वेक्षण किया
चण्डीगढ़ : पोस्ट ग्रेजुएट गवर्नमेंट कॉलेज फॉर गर्ल्स, सेक्टर 11 के भूगोल विभाग के छात्रों ने दो दिवसीय सर्वेक्षण में “ब्यास नदी तट के कटाव से प्रेरित मानव विस्थापन और प्राकृतिक आपदा के प्रति संवेदनशीलता” विषय पर एक क्षेत्रीय सर्वेक्षण के लिए गांव गुलेर जिला कांगड़ा हिमाचल प्रदेश का दौरा किया। भूगोल विभाग के प्रमुख डॉ. सलिल शर्मा, संजय कुमार, प्रभु नाथ शाही पूर्व फ्लाइट इंजीनियर भारतीय वायु सेना,निदेशक जय मधुसूदन जय श्रीकृष्ण फाउंडेशन और विभाग संयोजक हरियावल पंजाब, विकास शर्मा प्रकृति प्रेमी चंडीगढ़ बर्ड क्लब के संरक्षणवादी मार्गदर्शक तथा मेजबान के रूप में गाँव गुलेर के स्थानीय निवासी नीतीश कुमार के 60 छात्राएं क्षेत्र सर्वेक्षण का हिस्सा थे। छात्राओं ने पूरे गाँव का दौरा किया और प्रश्नावली और साक्षात्कार के माध्यम से प्राथमिक डेटा एकत्र किया। उन्होंने गुलेर और भटोली फकोरियां में ब्यास नदी के बाढ़ घाटियों और तटों का भी दौरा किया।
विद्यार्थियों ने ग्राम पंचायत गुलेर और जय मधुसूदन जय श्रीकृष्ण फाउंडेशन के साथ मिलकर फलदार और नीम के पौधे लगाये।आपदा प्रबंधन से संबंधित सर्वेक्षण में गांव धार का दौरा कर प्रभावित परिवारों से जानकारी हासिल किए तथा मसरूर किले के वास्तु और स्थापत्य कला का अवलोकन किए। वे गुलेर विरासत किले का दौरा करने के इच्छुक थे और गुलेर साम्राज्य के प्रसिद्ध राजवंश के उत्तराधिकारी राघव जी के प्रयासों से प्रदर्शित प्रसिद्ध कांगड़ा चित्रों को देखकर आश्चर्यचकित हुए। किले के किनारे और हेरिटेज रेलवे लाइन का दृश्य मनमोहक है। इस सर्वेक्षण के जानकारी हासिल करने में स्थानीय जनप्रतिनिधियों और निवासियों का विशेष सहयोग रहा छात्रो सहित पूरी टीम ने उत्साहपूर्वक कार्य किये और सर्वेक्षण टीम के तरफ़ से डॉ सलिल शर्मा ने सभी का धन्यवाद किया।